Drishyam, ek chudai ki kahani-23

This story is part of the Drishyam, ek chudai ki kahani series दूसरे दिन सुबह! कालिया सुबह चार बजे ही घर से निकल चुका था। सिम्मी ने कमरे की सारी चीज़ें फिर से ठीक ठाक कर दीं थीं। चद्दरें बदल दी थीं। पर सिम्मी पलंग को ठीक करना भूल गयी थी। सिम्मी जल्दी से वापस … Read more

Drishyam, ek chudai ki kahani-16

This story is part of the Drishyam, ek chudai ki kahani series कुछ देर बाद अर्जुन को दरवाजे पर दस्तक सुनाई दी। जब उसने दरवाजा खोला तो सिम्मी को वहाँ खड़ा पाया। सिम्मी ने कमरे में आ कर अर्जुन के कंधे पर हाथ रखते हुए कहा, “ठीक है, तुम जब मुझे इतना कह रहे हो … Read more

Drishyam, ek chudai ki kahani-2

This story is part of the Drishyam series हेल्लो दोस्तों, अब आगे की कहानी पढ़िए! जब से सिम्मी ने कालिया का लण्ड देखा था तब से उसके मन में पता नहीं कुछ अजीब सी उलझनें पैदा हो रही थीं। उसे कालिया के प्रति एक तरह का विचित्र आकर्षण होने लगा था। हालांकि उसे कालिया कतई … Read more